Advertisement

भारत ने किया पाक का हुक्का-पानी बंद, लेकिन असली एक्शन अभी बाकी है! सर्वदलीय बैठक में तय होगी रणनीति

कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद केंद्र सरकार पूरी तरह एक्शन मोड में है। गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सभी राजनीतिक दलों को साथ लेकर एक सर्वदलीय बैठक बुलाने का फैसला किया है। इस बैठक में पाकिस्तान के खिलाफ कड़े कदमों पर चर्चा होगी।

23 Apr, 2025
( Updated: 24 Apr, 2025
11:05 AM )
भारत ने किया पाक का हुक्का-पानी बंद, लेकिन असली एक्शन अभी बाकी है! सर्वदलीय बैठक में तय होगी रणनीति
22 अप्रैल 2025 को कश्मीर की हसीन वादियों में बसे पहलगाम की बैसरन घाटी में हुआ आतंकी हमला ना सिर्फ निर्दोष लोगों की जान ले गया, बल्कि भारत की सहनशीलता की सीमा भी पार कर दी. सैलानियों की भीड़, बच्चों की हंसी, और प्राकृतिक सुंदरता के बीच अचानक गोलियों की आवाज़ गूंज उठी और एक खूबसूरत दिन आतंक की कालिमा में बदल गया. पहलगाम अटैक सिर्फ एक हमला नहीं था, ये सीमा पार से आ रहे आतंक के नेटवर्क का हिस्सा था. और इस बार भारत ने तय कर लिया अब चुप नहीं बैठा जाएगा.

"एक्शन अभी बाकी है"

इसी को देखते हुए गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कमान संभालते हुए सर्वदलीय बैठक बुलाने का फैसला लिया है, जिससे साफ है कि अब भारत की रणनीति में सभी पक्षों की भूमिका अहम मानी जा रही है. गृह मंत्री अमित शाह और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इस बैठक के लिए सभी दलों से संपर्क किया है. सूत्र बताते हैं कि इस बैठक में पाकिस्तान पर और भी कठोर कदमों पर चर्चा हो सकती है जैसे पाकिस्तान से राजनयिक संबंध पूरी तरह खत्म करना, पाकिस्तान को आतंक समर्थक राष्ट्र घोषित करवाने की कोशिश, सीमाई कार्रवाई या सर्जिकल स्ट्राइक, UN और G20 जैसे मंचों पर वैश्विक दबाव बनाना. इस बैठक की अध्यक्षता रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह करेंगे, जिससे यह साफ संकेत मिलता है कि केवल कूटनीति ही नहीं, सुरक्षा रणनीति भी तैयार की जा रही है.

CCS मीटिंग में आया निर्णायक मोड़

हमले के तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आपात बैठक बुलाई, जिसे सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति (CCS) कहा जाता है. इस बैठक में गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और सेना के शीर्ष अधिकारी मौजूद थे. बैठक में जब पहलगाम हमले से जुड़ी जानकारी सामने आई, और पाकिस्तान के लिंक की पुष्टि हुई, तो सरकार ने दो टूक फैसला लिया: "अबकी बार शब्द नहीं, सीधे सख्त कदम".

पाकिस्तान पर पहली चोट हुक्का-पानी बंद!

बैठक के बाद एक के बाद एक सख्त कदमों का ऐलान हुआ.1960 की सिंधु जल संधि को स्थगित किया गया. विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने साफ कहा कि जब तक पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद को समर्थन देता रहेगा, भारत उसे एक बूंद पानी भी नहीं देगा. अटारी बॉर्डर की इंटीग्रेटेड चेकपोस्ट को तत्काल प्रभाव से बंद कर दिया गया. मतलब अब सामान का कोई आदान-प्रदान नहीं. व्यापारी और ट्रक ड्राइवरों की आवाजाही ठप. इस्लामाबाद स्थित भारतीय उच्चायोग के रक्षा, नौसेना और वायु सलाहकारों को वापस बुलाया जा रहा है, जबकि दिल्ली स्थित पाक उच्चायोग के अधिकारियों को 'persona non grata' घोषित कर देश छोड़ने का आदेश दे दिया गया है.

पाकिस्तानी नागरिकों को 48 घंटे में भारत छोड़ने का आदेश

सरकार ने SAARC वीजा सुविधा रद्द करते हुए सभी पाकिस्तानी नागरिकों को 48 घंटे के भीतर भारत छोड़ने का अल्टीमेटम दिया है. जो भी पाकिस्तानी नागरिक SVE Visa के तहत भारत में हैं, उनका वीजा तत्काल प्रभाव से रद्द कर दिया गया है. यह फैसला न सिर्फ एक सुरक्षा कदम है, बल्कि भारत की बदलती रणनीति का संकेत भी है अब कोई ढील नहीं.

पहलगाम हमला पुलवामा (2019) से अलग है, लेकिन परिणाम कहीं ज्यादा गंभीर हो सकते हैं. उस समय भारत ने बालाकोट में एयरस्ट्राइक की थी. इस बार हमला सैलानियों पर हुआ है यानी सीधे आम नागरिकों को निशाना बनाया गया. यह बात भारत की नीति को और कठोर बना रही है. मोदी-शाह की जोड़ी अब निर्णायक फैसले ले रही है पहले कूटनीति, अब शायद सैन्य दबाव.

पहलगाम हमले ने एक बार फिर हमें याद दिलाया है कि आतंकवाद आज भी सबसे बड़ा खतरा है. लेकिन इस बार भारत ने एक स्पष्ट संदेश दिया है "अबकी बार ना सिर्फ बातों का जवाब होगा, बल्कि दुश्मन की जड़ों पर वार भी होगा." जो कदम उठाए गए हैं  वीजा रद्द करना, पानी रोकना, बॉर्डर बंद करना – ये सब प्रारंभिक चोटें हैं. अब सबकी नजरें हैं भारत के अगले कदम पर.

यह भी पढ़ें

टिप्पणियाँ 0

LIVE
Advertisement
Podcast video
अल फ़तह का चीफ़ है फारुख अब्दुला, दिल्ली धमाके से जुड़े तार
Advertisement
Advertisement
Close
ADVERTISEMENT
NewsNMF
NMF App
Download
शॉर्ट्स
वेब स्टोरीज़
होम वीडियो खोजें